हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने प्रदेशवासियों को श्री गुरु नानक देव जी के 550 साला प्रकाशोत्सव की बधाई व शुभकामनाएं देते हुए कहा है कि संस्कारों के बिना सभी प्रकार की शिक्षाएं व्यर्थ हैं। जब तक हम महापुरुषों के संपर्क या उनके बताए हुए उपदेशों व शिक्षाओं पर नहीं चलते तब तक हमारी शिक्षा व्यर्थ है। इन्हीं महापुरूषों का संदेश देने के लिए हरियाणा सरकार ने पिछले पांच वर्षों में महापुरुषों की जयंतियां सरकारी तौर पर मनाने का निर्णय लिया है।
मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने रविवार को सिरसा की नई अनाज मंडी में श्री गुरु नानक देव जी के 550 साला प्रकाशोत्सव के अवसर पर कहा कि सिरसा धर्मगुरुओं की एक ऐतिहासिक नगरी रही है जहां सिखों के सभी दस गुरुओं ने चालिसा अर्थात 40 दिन बिताए हैं। उन्होंने गुरुद्वारा प्रबंधन कमेटी की मांग पर गुरुद्वारा चिल्ला साहिब की लजूर भूमि, जो सरकार के नाम है, को सरकार की नीति के अनुसार गुरुद्वारा के नाम करने की घोषणा की। मुख्यमंत्री ने सिरसा व उसके आस-पास के पंजाबी बाहुल्य जिलों में पंजाबी अध्यापकों के रिक्त पदों को शीघ्र भरने की घोषणा की। इसके लिए लगभग 400 पदों का विज्ञापन जल्द जारी कर दिया जाएगा। इसके अलावा मुख्यमंत्री ने कुरुक्षेत्र में सिख गुरुओं के नाम से एक संग्रहालय बनवाने की घोषणा की।
सिरसा में सिख समाज के लिये बनाई जायेगी धर्मशाला – मुख्यमंत्री
मनोहर लाल ने सिरसा में सिख समाज के लिए लगभग एक एकड़ जमीन धर्मशाला बनवाने के लिए सिरसा के उपायुक्त को जमीन तलाशने के निर्देश भी दिए। उन्होंने हरियाणा से होकर पंजाब व राजस्थान सीमा तक जा रहे श्री गुरु गोबिंद सिंह के नाम पर घोषित राष्ट्रीय राजमार्ग पर उनके नाम के साईन बोर्ड लगवाने की घोषणा की। इसके अलावा समारोह में रखी गई सभी मांगों पर सहानुभूतिपुर्वक विचार करने का आश्वासन दिया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार का खजाना केवल सिख समाज के लिए ही नहीं खुला है बल्कि समाज के हर वर्ग के लिए खुला है। सरकार का काम जनता के मौलिक कामों को ठीक करना है। सरकार ने बीर बंदा बहादुर की स्मृति में लोहगढ़ को पर्यटक स्थल के रूप में विकसित करने की घोषणा की है और वहां पर मार्शल आर्ट स्कूल खोला जा रहा है और बाबा बंदा सिंह बहादुर व उसकी सेना से जुड़ी शस्त्र व अन्य चीजों को सहेजने के लिए एक संग्रहालय का निर्माण किया जा रहा है और इसके लिए एक ट्रस्ट का गठन भी किया जाएगा।